10.6 C
London
Friday, April 19, 2024

विरोध प्रदर्शनों के बाद दबाव में आई सरकार, ‘अग्निपथ स्कीम’ पर लिया ये बड़ा फैसला; लाखों युवाओं पर पड़ेगा असर 

- Advertisement -spot_imgspot_img
- Advertisement -spot_imgspot_img

देश की तीनों सेनाओं में सैनिक स्तर पर भर्ती के लिए अग्निपथ स्कीम लॉन्च होने के बाद देशभर में इसका विरोध जारी है. कहीं पर सड़कें जाम की जा रही हैं तो कहीं ट्रेन फूंकी जा रही है.

विरोध प्रदर्शनों के बाद दबाव में आई केंद्र सरकार ने अब युवाओं का गुस्सा शांत करने के लिए उन्हें भर्ती की ऐज लिमिट में छूट देने का फैसला किया है. लेकिन यह छूट केवल एक बार के लिए ही होगी और उसके बाद अग्निपथ स्कीम (Agnipath Scheme) की ऐज लिमिट के अनुसार ही भर्तियां होंगी.

अग्निपथ स्कीम में 23 साल तक के युवा हो सकेंगे भर्ती

रक्षा मंत्रालय ने गुरुवार को कहा कि कोरोना महामारी की वजह से पिछले 2 साल से तीनों सेनाओं में भर्तियां रुकी हुई थीं. इसकी वजह से काफी युवा तैयारी करते-करते ओवरएज हो गए. अब ऐसे युवाओं को राहत देने के लिए सरकार उन्हें एक बार उम्र में छूट देने का फैसला किया है. फिलहाल सरकार ने नई अग्निपथ स्कीम (Agnipath Scheme) में भर्ती के लिए 17.5 साल से 21 साल तक की ऐज लिमिट तय की है. लेकिन जल्द शुरू होने वाली तीनों सेनाओं की पहली भर्ती में 23 साल तक के युवा भी अप्लाई कर सकेंगे. 

केवल एक बार के लिए मिलेगी उम्र में छूट

बताते चलें कि अग्निपथ स्कीम (Agnipath Scheme) के तहत एक साल में 96 हजार सैनिकों की भर्ती की जाएगी. इनमें से 40 हजार भर्ती आर्मी के लिए होंगी और बाकी भर्तियां एयर फोर्स और नेवी के लिए की जाएंगी. इनमें से पहली भर्ती रैली अगले 90 दिनों के दौरान होने की उम्मीद है. तीनों सेनाओं की भर्ती खुलने का देशभर के युवा बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं. इसकी तैयारी करते-करते कई युवाओं की अधिकतम उम्र भी निकल गई है, जिसके चलते उनमें निराशा पसर रही है. 

अग्निपथ स्कीम का विरोध जता रहे हैं युवा

सरकार ने बुधवार को प्रेसवार्ता कर जैसे ही अग्निपथ स्कीम (Agnipath Scheme) लॉन्च की, उसके बाद से देशभर के युवाओं में गुस्सा पसर गया है. युवाओं का कहना है कि 4 साल तक नौकरी के बाद उन्हें 25 साल की उम्र में अयोग्य बताकर सेना से निकाल दिया जाएगा. इसके बाद वे कहां जाएंगे. युवा इस बात से नाराज हैं कि सरकार अपने पैसे बचाने के चक्कर में उनके भविष्य से खिलवाड़ कर रही है. वे पिछले 2 दिनों से लगातार सड़कों पर उतरकर इस स्कीम का विरोध जता रहे हैं.

रक्षा विशेषज्ञ भी जता चुके हैं स्कीम पर चिंता

रक्षा विशेषज्ञों ने भी सरकार की इस स्कीम (Agnipath Scheme) पर चिंता जताई है. विशेषज्ञों का कहना है कि सैनिकों के वेतन-पेंशन के बढ़ते खर्च को कम करने की सरकार की चिंता जायज है लेकिन इसके चक्कर में तीनों सेनाओं की भर्ती और ट्रेनिंग के साथ प्रयोग नहीं किया जा सकता. रिटायर्ड मिलिट्री अफसरों का कहना है कि चीन और पाकिस्तान जैसे घोषित दुश्मनों से निपटने के लिए टाइम पास सैनिकों की नहीं बल्कि फुल टाइम सैनिकों की जरूरत है. केवल 4 साल के लिए सेना में भर्ती होने वाले सैनिकों में न तो वह जज्बा पैदा हो पाएगा, जो रेग्युलर सैनिकों में होता है बल्कि वे नियमित सैनिकों की तरह कुशल और अनुशासित योद्धा भी नहीं बन पाएंगे.

- Advertisement -spot_imgspot_img
Jamil Khan
Jamil Khanhttps://reportlook.com/
journalist | chief of editor and founder at reportlook media network

Latest news

- Advertisement -spot_img

Related news

- Advertisement -spot_img

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here