एनसीबी अधइकारी समीर वानखेड़े को लेकर विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है। महाराष्ट्र के मंत्री और एनसीपी नेता नवाब मलिक ने एक-एक कर वानखेड़े पर कई आरोप लगाए हैं, जिनमें बड़ी हस्तियों से उगाही का आरोप भी शामिल है। इस मामले में एनसीबी ने अपने ही अधिकारी वानखेड़े के खिलाफ जांच भी शुरू कर दी है लेकिन अब खुद वानखेड़े ने ही बॉम्बे हाई कोर्ट में याचिका दायर कर इस मामले की सीबीआई जांच करने की मांग की है। वानखेड़े की याचिका पर बॉम्बे हाई कोर्ट ने साफ कर दिया है कि मुंबई पुलिस को गिरफ्तारी से पहले तीन दिनों का नोटिस देना होगा। बता दें कि मुंबई पुलिस भी वानखेड़े के खिलाफ दायर की गई 4 शिकायतों पर जांच शुरू कर चुकी है। इसके बाद से यह आशंका थी कि वानखेड़े को मुंबई पुलिस गिरफ्तार कर सकती है।
मुंबई पुलिस ने वानखेड़े पर लगे आरोपों की जांच के लिए 4 सदस्यों वाली एक टीम का भी गठन कर दिया है जो, सारे मामलों की जांच करेगी।
समीर वानखेड़े पर यह भी आरोप है कि मुंबई क्रूज ड्रग्स केस में आर्यन को छोड़ने के एवज में 25 करोड़ की डील पर बातचीत जारी थी। आर्यन केस में स्वतंत्र गवाह प्रभाकर साइल ने बीते दिनों हलफनामे में यह दावा किया था कि आर्यन को छोड़ने के लिए 25 करोड़ की डील हो रही थी, जिसमें 18 करोड़ पर सहमति बन गई थी। इसमें से 8 करोड़ रुपये समीर को दिए जाने थे।
वहीं, नवाब मलिक ने यह भी आरोप लगाया था कि कोरोना महामारी के दौरान पूरी फिल्म इंडस्ट्री मालदीव में थी। वानखेड़े और उनका परिवार भी उसी वक्त वहां था। उन्होंने दावा किया कि वानखेड़े ने मालदीव में फिल्मी हस्तियों से उगाही की।
इस बीच एनसीबी की एक पांच सदस्यीय टीम बुधवार को जांच के लिए मुंबई पहुंची है। यह टीम वानखेड़े और अन्य अधिकारियों के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच करेगी। हालांकि, एनसीबी ने यह भी स्पष्ट कर दिया कि जब तक वानखेड़े के खिलाफ कोई ठोस सबूत नहीं मिलते, वह आर्यन ड्रग केस की जांच की अगुवाई करते रहेंगे।