रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने अपने सैनिकों को पूर्वी यूक्रेन के अलगाववादी क्षेत्रों डोनेट्स्क और लुहांस्क भेजने का आदेश दिया है। बताया जा रहा है कि रूसी सैनिक इन इलाकों में पहुंच चुके हैं। इससे पहले पुतिन ने इन क्षेत्रों को स्वतंत्रत देश की मान्यता दी थी। यहां कुछ कंपनियों के शेयर लगातार गिरते जा रहे हैं। उधर, पुतिन के आदेश पर पश्चिम देशों ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है।
रूस ने यूक्रेन के अलगाववादी राज्यों को स्वतंत्र पूर्वी यूक्रेन के रूप में मान्यता देने के बाद सेना भेज दी है। यूक्रेन के दो प्रांतों लुहांस्क-डोनेट्स्क में रूसी सेना के टैंक इस क्षेत्र में घुस गए है। हालांकि रूसी सैनिक भेजे जाने के सवाल पर पुतिन ने जवाब दिया है कि अलगाववादियों के कब्जे वाले दोनों प्रांतों में शांति बनाए रखने के लिए ऐसा करना जरूरी है। पुतिन के अपने सैनिकों को इन क्षेत्रों में भेजने के आदेश पर सेर्बैंक जैसी कंपनियों के शेयर तेजी से गिर गए हैं।
समाचार एजेंसी रॉयटर्स के अनुसार, यूक्रेन के पूर्वी क्षेत्र में मध्य डोनेट्स्क में कई धमाकों की आवाज सुनी गई है। संभावना जताई जा रही है कि रूसी सैनिकों के इन इलाकों में घुसने के बाद यहां संघर्ष की कुछ घटनाएं सामने आई हैं। वहीं, पुतिन के इस कदम पर पश्चिमी नेताओं ने चेतावनी दी है कि उन्हें इसके गंभीर परिणाम देखने को मिल सकते हैं। पुतिन के इस फैसले की संयुक्त राष्ट्र और कई पश्चिमी नेताओं ने निंदा की है।
रूस पर प्रतिबंधों की झड़ी
यूक्रेन पर संकट के बीच तमाम देशों ने रूस पर कार्रवाई करनी शुरू कर दी है। पहले जर्मनी ने रूस के गैस पाइपलाइन प्रोजेक्ट नोर्ड स्ट्रीम को रद्द कर दिया है। वहीं, ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने मंगलवार को रूस के पांच बड़े बैंकों पर प्रतिबंध लगा दिया। बोरिस ने पुतिन पर यूक्रेन की संप्रभुता का उल्लंघन करने का आरोप लगाया है। अमेरिका ने भी रूस पर पाबंदियों का ऐलान किया है।