उत्तर प्रदेश के शामली जिले की कैराना विधानसभा सीट से समाजवादी पार्टी के उम्मीदवार नाहिद हसन को जीत मिली है। वह फिलहाल जेल में हैं। उन्होंने भाजपा की प्रत्याशी मृगांका सिंह को 25 हजार से ज्यादा वोट से हराया। मृगांका, बाबू हुकुम सिंह की पुत्री हैं। कांग्रेस ने इस जीत से अखलाक, बसपा ने राजेंद्र और आम आदमी पार्टी में संगीता को मैदान में उतारा था। साल 2017 में भी नाहिद को इस सीट से जीत मिली थी।
नाहिद हसन गैंगस्टर एक्ट के तहत जेल में बंद हैं। समाजवादी पार्टी ने जब उम्मीदवारों की सूची जारी की थी तो उसमें नाहिद हसन का नाम था। इसे लेकर काफी बवाल मचा था। भाजपा ने कैराना से पलायन का मुद्दा उठाया था। मुजफ्फरनगर दंगों की चर्चा भी छिड़ गई थी। इस दौरान उनका एक वीडियो वायरल हुआ, जिसे लेकर काफी बवाल मचा था।
सियासी परिवार से नाता- नाहिद एक सियासी परिवार से वास्ता रखते हैं। उनके पिता मुनव्वर हसन ने 1991 और 1993 में जनता दल से चुनाव जीता था। इसके बाद वह 1996 में सपा के टिकट पर लोकसभा सीट से लड़े और जीत दर्ज की। साल 1999 में उन्हें हार मिली थी और सपा ने उन्हें राज्यसभा भेजा था। वह साल 2003 में विधान परिषद के सदस्य बने। दिसंबर 2008 में उनकी मौत हो गई थी। नाहिद के दादा भी कैराना सीट से सांसद रहे।
लंदन से लौटी बहन- नाहिद के जेल में बंद होने पर उनकी बहन इकरा हसन लंदन लौट आई थीं और प्रचार का जिम्मा संभाला था। इकरा ने कैराना सीट से ही निर्दलीय प्रत्याशी के तौर पर नामांकन किया था। उन्होंने कहा था कि उनको सरकार पर भरोसा नहीं है। सरकार उनके भाई का नामांकन निरस्त करा सकती है। इसी कारण से उन्होंने पर्चा भरा था।