यूपी की धर्म नगरी वाराणसी के श्रृंगार गौरी मामले में शनिवार को ज्ञानवापी मस्जिद का सर्वे हुआ। कोर्ट के आदेश के बाद सर्वे के पहले दिन एडवोकेट कमिश्नर ने मस्जिद के तहखाने में चार कमरों और पश्चिमी दीवार का सर्वे किया। यह सर्वे करीब तीन घंटे तक चला।
इस दौरान वादी-प्रतिवादी के साथ दोनों पक्षों के वकील भी सर्वे के लिए मस्जिद के अंदर पहुंचे थे। एडवोकेट कमिश्नर अजय मिश्र और वादी-प्रतिवादी पक्ष के 52 लोग सर्वे के लिए परिसर के अंदर गए थे।
सर्वे के लिए परिसर में दाखिल हुए सभी लोगों के मोबाइल फोन जमा करा लिए गए थे। सर्वे के दौरान परिसर में कमरों की वीडियोग्राफी की गई। जानकारी के मुताबिक, तालों में जंग लगा हुआ था। ऐसे में चाभियां होने के बावजूद ताला तोड़ कर अंदर टीम दाखिल हुई। सर्वे का काम सुबह 8 बजे से 11 बजे तक चला।
इस बीच, सर्वे के दौरान तहखाने में सांप दिखाई देने के कारण यह काम कुछ देर के लिए बाधित हुआ। नगर निगम की टीम द्वारा सांप को निकाले जाने के बाद एक बार फिर सर्वे का काम शुरू हुआ।
मस्जिद के सर्वे के दौरान किसी तरह की बाधा न आए, इसे लेकर प्रशासन सतर्क था। बुलानाला की तरफ से विश्वनाथ मंदिर जाने वाले रास्ते को ब्लॉक कर दिया गया था। प्रशासन ने सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए थे। तहखानों की वीडियोग्राफी कर बाहर निकले फोटोग्राफर ने अंदर के हालात के बारे में कुछ भी बताने से साफ इनकार कर दिया। कोर्ट के आदेश के मुताबिक, सर्वे पूरा होने के बाद 17 मई को अदालत के सामने रिपोर्ट पेश की जाएगी।
ज्ञानवापी मस्जिद में सर्वे पर वाराणसी के पुलिस आयुक्त ए सतीश गणेश ने कहा कि आज की कार्रवाई कोर्ट कमिश्नर के द्वारा पूरी की गई है। कल भी ये सर्वे जारी रहेगा। सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए थे। आदर्श माहौल में आज की सर्वे पूरी हुई है।
उन्होंने कहा कि पूरी प्रक्रिया सुचारू रूप से चल रही है। यह कोर्ट का निर्देश है, हमारा कर्तव्य है कि इसे लागू किया जाए। हमने सुरक्षा के सारे इंतजाम किए और अब तक सब कुछ शांतिपूर्ण माहौल में हुआ है।
दूसरी मस्जिद हरगिज नहीं खोएंगे- ओवैसी
वहीं, एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने कहा, “बाबरी मस्जिद पर कोर्ट का फैसला आ गया और अब ज्ञानवापी का मसला शुरू हो गया है। मैं हुकूमत को ये बात बता रहा हूं कि हमने एक बाबरी मस्जिद को खोया है दूसरी मस्जिद को हरगिज नहीं खोएंगे।” उन्होंने कहा, “तुमने मक्कारी और अय्यारी से हमारी मस्जिद छीनी थी, दूसरी मस्जिद नहीं छीन पाओगे। ज्ञानवापी मस्जिद थी, है और रहेगी।”