कोटा. जन लोकपाल आंदोलन के प्रणेता एवं समाजसेवी अन्ना हजारे ने कांग्रेस की मनमोहन सरकार व भाजपा की मोदी सरकार को किसान विरोधी बताया।
प्रेस क्लब में आयोजित वार्ता में अन्ना हजारे ने कहा कि दोनों ही सरकारों के कार्यकाल में भ्रष्टाचार बढ़ा है। इस बार मोदी सरकार से बहुत उम्मीद थी कि अच्छे दिन आएंगे, लेकिन अब तो बुरे से बुरे दिन आ गए।
पहले वाली सरकार ने भ्रष्टाचार में ग्रेजुएशन किया था और इस सरकार ने डॉक्टरेट किया है। उन्होंने कहा कि दोनों ही सरकारों का किसान और जनता पर ध्यान नहीं है। नीति तो बना दी, लेकिन नीयत साफ नहीं है।
अन्ना ने कहा कि मोदी सरकार ने अधिकारियों के लिए भ्रष्टाचार के रास्ते खोल दिए। हमने कहा था कि 31 मार्च को हर अधिकारी अपनी आय, प्रोपट्री घोषित करें। लेकिन मोदी सरकार ने अब तक ऐसा नहीं किया।
सरकार को लिखी 22 चिठ्ठियां कोई जवाब नहीं आया
कांग्रेस सरकार के समय 82 चिठ्ठियां लिखी, भाजपा सरकार को 22 चिठ्ठियां लिख चुका हूं, एक पत्र तो तीन दिन पहले ही लिखा है कि देश में लोकपाल लाओ, लोकायुक्त नियुक्त करो, भ्रष्टाचार पर अंकुश लगाओं।
लेकिन एक भी पत्र का जवाब नहीं आया है। पहली सरकार को भी मौका दिया था और इस सरकार को भी साढ़े तीन साल का समय दे दिया, इसलिए अब आंदोलन किया जाएगा।
राजतंत्र की तरफ बढ रहा है देश
अन्ना ने कहा कि देश हुकुमशाही की तरफ बढ रहा है। वर्तमान में अंग्रेजी शासन की तरह हो रहा है। लोकसभा व विधानसभा में बिना चर्चा के बिल बना रहे हैं। चर्चा नहीं कर रहे केवल हुकुम दे रहें है। ऐसी स्थिति में देश को खतरा हो रहा है। जनता परेशान हो चुकी है।