मेरठ। विधानसभा चुनावों से पहले सपा मुखिया अखिलेश यादव ने बसपा को करारा झटका दिया है। मेरठ नगर निगम की महापौर सुनीता वर्मा और उनके पति पूर्व विधायक योगेश वर्मा अपने समर्थकों के साथ शनिवार को लखनऊ में सपा में शामिल हो गए।
हस्तिनापुर के पूर्व विधायक योगेश वर्मा की गिनती बसपा के कद्दावर नेताओं में होती थी। उन्होंने अपनी पत्नी सुनीता वर्मा को मेरठ नगर निगम की महापौर बनवाया। प्रदेश में भाजपा सरकार बनने के बाद योगेश वर्मा को जेल भी जाना पड़ा। जेल से लौटने के बाद योगेश वर्मा ने भाजपा में शामिल होने की जुगत लगाई, लेकिन बात नहीं बन पाई। इसके बाद बसपा प्रमुख मायावती ने पार्टी विरोधी गतिविधियों के आधार पर योगेश वर्मा और सुनीता वर्मा को पार्टी से निष्कासित कर दिया।
अतुल प्रधान बनें मध्यस्थ
योगेश वर्मा और महापौर के सपा में शामिल करवाने में सपा नेता अतुल प्रधान ने मध्यस्थता की। उन्होंने ही लखनऊ में सपा मुखिया अखिलेश यादव से योगेश की मुलाकात कराई। मेरठ की राजनीति में अतुल प्रधान का अपना अलग स्थान है।
अखिलेश ने दिलाई सदस्यता
शनिवार को महापौर सुनीता वर्मा और योगेश वर्मा को समर्थकों समेत सपा मुखिया अखिलेश यादव ने सपा की सदस्यता दिलाई। महापौर के साथ कई पार्षद और बसपा कार्यकर्ता सपा में शामिल हुए। योगेश के सपा में शामिल होने से मेरठ में बसपा को करारा झटका लगा है।
You must log in to post a comment.